BU Jhansi: शिक्षा से ही ज्योति हुई प्रकाशमान! बुन्देलखण्ड विश्वविद्यालय की पूर्व छात्रा ज्योति को मिली 1.5 करोड़ रूपये की स्कॉलरशिप

BU Jhansi: कहते हैं कि सच्चे मन से की गई शिक्षा कभी भी धोखा नहीं देती है। वह शिक्षा एक न एक दिन आपको सफलता के शिखर पर पहुंचा ही देगी। जो छात्र शुरू से ही शिक्षा के प्रति वफादारी से लगनशील होते हैं, उन्हें शिक्षा कभी भी धोखा नहीं देती है, वह शिक्षा उन छात्रों को आगे के लिए नये-नये प्रगति के रास्ते बनाते ही जाते हैं। जिससे उस छात्र के घर के अलावा समाज को भी नई प्रेरणात्मक रोशनी मिलती है।

कुछ ऐसा ही मिला बुन्देलखण्ड विश्वविद्यालय की लगनशील पूर्व छात्रा ज्योति वर्मा को। ज्योति वर्मा ने वर्ष 2013 में बीयू से बी फार्मा से स्नाततक की उपाधि प्राप्त की। उन्हें एनओएस स्क्रीम के तहत सामाजिक न्याय मंत्रालय भारत सरकार द्वारा प्रायोजित किया जा रहा है और उन्हें डेढ़ करोड़ रूपये की स्कॉलरशिप दी गई। उन्हें यह स्कॉलरशिप ट्रूकू विश्वविद्यालय फिनलैंड में पीएचडी के लिए मिली है। शिक्षा से ही ज्योति हुई प्रकाशमान, बुन्देलखण्ड विश्वविद्यालय की पूर्व छात्रा ज्योति को मिली 1.5 करोड रूपये की स्कॉलरशिप। आइए जानते हैं इस खबर में विस्तारतापूर्वक।

BU Jhansi: ज्योति ने शिक्षा के प्रति कभी हार नहीं मानी

बुन्देलखण्ड विश्वविद्यालय की पूर्व छात्रा ज्योति वर्मा ने शिक्षा के प्रति लगनशीलता रखते हुये आगे की पढ़ाई जारी रखी। उन्होंने शिक्षा के प्रति कभी हार नहीं मानी और वह बढ़ती गई अपने लक्ष्य की ओर। वैसे यह भी बात की अगर हम किसी कार्य को पूर्ण निष्ठा से लगनशील होते हुये करते हैं तो एक ना एक दिन सफलता अवश्य मिलती है। ज्योति ने इसके अलावा एम फार्मा वर्ष 2015 में बीआर अंबेडकर सेंट्रल यूनिवर्सिटी लखनऊ से किया। इसके साथ ही उन्होंने सहायक आचार्य के रूप में महर्षि यूनिवर्सिटी लखनऊ में फार्मेसी विभाग में सेवांए भी दी। ज्योति का गृह जनपद बुन्देलखण्ड की माटी झांसी रहा। उन्होंने अपने जीवन की प्रारंभिक शिक्षा झांसी जनपद से ही की।

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